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हेल्‍थ वैलनेस सेंटर में पुराने एम पी डब्‍ल्‍यू के समायोजन की मांग

-राज्‍य कर्मचारी संयुक्‍त परिषद ने लिखा अपर मुख्‍य सचिव को पत्र

लखनऊ। राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद उ प्र के महामंत्री अतुल मिश्रा ने ग्रामीण क्षेत्रों में जनता को बेहतर स्वास्‍थ्‍य सेवा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से नवनिर्मित हेल्थ वैलनेस सेंटर में एम पी डब्ल्यू (संविदा) की नियुक्ति करने में वर्ष 2011-12 में नियुक्‍त किये गये एम पी डब्‍ल्‍यू जिन्‍हें मानदेय नहीं मिल पा रहा है, को समायोजित करने की मांग की है।

अपर मुख्य सचिव चिकित्सा स्वास्थ्य को भेजे पत्र में अतुल मिश्र ने कहा है कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन उ प्र द्वारा प्रदेश की जनता को बेहतर चिकित्सा स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के उद्देश्‍य से हेल्थ एण्ड वेलनेस सेन्टर का चयन किया जा रहा है, जो लगभग पूर्ण हो चुका है। इस परियोजना में लगभग 2500 मल्टी परपस वर्कर (एम0पी0डब्लू0) पुरुष का चयन प्रस्तावित है।

अतुल मिश्र ने कहा कि राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अन्तर्गत वर्ष 2011-12 में लगभग 3575 एम0पी0डब्लू0 का चयन विज्ञापन निकालकर सारी औपचारिकता को पूर्ण करते हुए किया गया था। केन्द्र सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन में स्पष्ट प्राविधान किया गया था कि 03 वर्ष के उपरांत प्रदेश सरकार चयनित एम पी डब्ल्‍यू को नियमित करते हुए परियोजना चलाएगी। इसी के तहत केन्द्र सरकार द्वारा बजट दिया नही गया और बजट के अभाव में इनकी सेवाएं 30 सितम्बर 2014 के बाद से बाधित हो गईं, जबकि कई प्रदेशों ने इस परियोजना को बढ़ाते हुए उसमे नियुक्त कर्मियों को नियमित चयन प्रक्रिया में वरीयता देते हुए उनकी नियुक्ति कर दी।

उन्‍होंने बताया कि प्रदेश सरकार को इन कर्मचारियों द्वारा कई प्रत्यावेदन देने के उपरांत निस्तारण न होने की दशा में उच्च न्यायालय खण्डपीठ लखनऊ के समक्ष जाना पड़ा जहाँ न्यायालय द्वारा इनकी समस्या सुनने के उपरांत एक स्थगन आदेश पारित किया गया जिसके क्रम में ये कर्मचारी आज भी विभाग में कार्यरत हैं, लेकिन इनके मानदेय का भुगतान नहीं किया जा रहा है।

उन्‍होंने बताया कि संयुक्‍त राज्‍य कर्मचारी परिषद के अनुरोध पर शासन के निर्देश पर मुख्य चिकित्सा अधिकारियों द्वारा महानिदेशक परिवार कल्याण को भेजी गई रिपोर्ट के अनुसार 3023 एम0पी0डब्लू0 में से अधिकांश संविदा कर्मचारी अभी भी कार्यरत हैं। महानिदेशक परिवार कल्याण द्वारा 29 अक्टूबर, 2018 को शासन द्वारा तीन बिन्दुओं पर मांगी गई रिपोर्ट में अधिकांश जनपदों में वर्तमान में एम0पी0डब्लू0 के कार्यरत होने की पुष्टि की गई है।

अतुल मिश्रा ने अपर मुख्य सचिव चिकित्सा, स्वास्‍थ्‍य एवं परिवार कल्याण को भेजे गये पत्र के माध्यम से अनुरोध किया है कि वैश्विक महामारी कोविड-19 में अनुभवी कर्मचारियों की आवश्यकता है इसलिए इनकी पूर्व में की गई सेवाओं व अनुभव को दृष्टिगत रखते हुए इनका चयन हेल्थ एण्ड वेलनेस सेन्टर में एम पी डब्लू (संविदा) के पद पर किया जाना उचित होगा, जिससे प्रदेश की जनता को सरकार की मंशा के अनुरूप बेहतर चिकित्सा व्यवस्था उपलब्ध हो सके और विगत कई वर्षों से बिना वेतन के विभाग व जनता को अपनी सेवाएं प्रदान कर रहे इन कर्मियों के आय का साधन भी उपलब्ध हो सके और अपने परिवार का भरण पोषण भी कर सकें। उन्‍होंने कहा कि पूर्व में राज्‍य कर्मचारी संयुक्‍त परिषद की शासन व मिशन निदेशक के साथ सम्पन्न हुई बैठकों में इसपर सहमति भी हो चुकी है।