-आईएमए ने धूमधाम से मनाया नेशनल डॉक्टर्स डे, 130 चिकित्सकों को किया गया सम्मानित
सेहत टाइम्स
लखनऊ। भारतीय जनता पार्टी के विधायक व पूर्व आईएमए अध्यक्ष डॉ नीरज बोरा ने राष्ट्रीय चिकित्सक दिवस पर सभी चिकित्सकों को बधाई देते हुए कहा है कि डॉक्टरों के खिलाफ होने वाली हिंसा के लिए बनाये गये तथा विधानसभा में परित हो चुके एक्ट को शीघ्र लागू कराने के लिए मुख्यमंत्री से मिलेंगे।
डॉ नीरज बोरा ने यह बात आज यहां रिवर बैंक कॉलोनी स्थित आईएमए भवन में नेशनल डॉक्टर्स डे पर आयोजित सम्मान समारोह में बतौर विशिष्ट अतिथि सम्बोधित करते हुए कही। इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक को शामिल होना था लेकिन उनके शहर से बाहर होने की दशा में वे नहीं आ सके। डॉ बोरा ने बीस साल पूर्व का अपना वह समय याद किया जब वे आईएमए के विभिन्न पदों पर रहकर अपने दायित्व का निर्वहन करते थे। डॉ बिधान चंद्र राय के जन्मदिन व पुण्यतिथि 1 जुलाई को चिकित्सक दिवस मनाने के पीछे के कारणों के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि डॉ बिधान चंद्र राय को पश्चिम बंगाल का मुख्यमंत्री इसलिए बनाया क्योंकि वे अच्छे डॉक्टर थे। इस प्रस्ताव पर डॉ बिधान चंद्र राय ने कहा था कि मैं मुख्यमंत्री बनूंगा लेकिन रोज मरीज भी देखूंगा, और उन्होंने ऐसा ही किया जीवन की अंतिम सांस तक पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री रहे। यह संयोग ही है कि डॉ राय का जन्म दिन और पुण्यतिथि 1 जुलाई ही है, उनके कार्यों को देखते हुए सरकार ने इस दिन को राष्ट्रीय चिकित्सक दिवस मनाने का और उनके नाम से हर साल नेशनल एवॉर्ड डॉ बीसी राय एवार्ड देने का फैसला किया।
उत्तर प्रदेश विधानसभा में 17 विधायक चिकित्सक
उन्होंने बताया कि समूची डॉक्टर बिरादरी के साथ ही उत्तर प्रदेश और विशेषकर लखनऊ के लिए यह गर्व की बात है कि केजीएमयू के पूर्व छात्र रह चुके प्रो मानिक शाह ने हाल ही में त्रिपुरा के मुख्यमंत्री के रूप में कार्यभार संभाला है। उन्होंने उत्तर प्रदेश की चर्चा करते हुए कहा कि यह प्रसन्नता की बात है कि आज उत्तर प्रदेश विधान सभा में निर्वाचित 17 विधायक चिकित्सक हैं। इनमें चार विधायक समाजवादी पार्टी के, तथा बाकी 13 विधायक भाजपा के हैं। ये सभी सदन के अंदर जरूरत पड़ने पर अपनी सेवाएं देने के लिए तैयार हैं।
उन्होंने सभी चिकित्सकों को आश्वस्त किया कि उनके रहते चिकित्सकों को अपने चिकित्सा संस्थानों के कार्यों के लिए विभिन्न कार्यालयों के चक्कर लगाने की आवश्यकता नहीं है, सिंगल विंडो पर उनके सभी कार्य बिना किसी रुकावट के होंगे। उन्होंने आईएमए को नयी ऊंचाइयों तक पहुंचाने के लिए अध्यक्ष डॉ मनीष टंडन और उनकी टीम की प्रशंसा की।
मेडिको लीगल में डॉक्टर की पेशी टेलीमेडिसिन पर करने की मांग
इससे पूर्व विशिष्ट अतिथि केजीएमयू के कुलपति ले.ज. डॉ बिपिन पुरी ने कहा कि आज इस पर विचार करने की आवश्यकता है कि आखिर हम चिकित्सक मरीजों या उनके परिजनों तक अपनी बात समझा पाने में पूरी तरह सफल क्यों नहीं हैं, क्योंकि ऐसा न होने से ही दोनों के रिश्तों में तल्खियां बढ़ती हैं। डॉक्टरों को चाहिये कि वे मरीजों के परिजनों को मरीज की स्थिति की जानकारी बतायें कि उनका मरीज कितना सीरियस है। इसके लिए उन्होंने डॉक्टरों के खिलाफ होने वाली हिंसा पर उचित काररवाई करने की जरूरत बताते हुए इस सम्बन्ध में विधानसभा में पारित एक्ट को लागू किये जाने की जरूरत बतायी। उन्होंने मेडिको लीगल केस में डॉक्टर को कोर्ट में अपना बयान टेलीमेडिसिन से दर्ज कराने की सुविधा मिले। उन्होंने कहा कि डॉक्टरों को समाज के साथ-साथ अपनी सेहत का भी खयाल रखना चाहिये।
चिकित्सकों से संगठित रहने की अपील
आईएमए-एएमएस के वाइस प्रेसिडेंट डॉ सूर्यकांत ने चिकित्सक दिवस पर चिकित्सकों की सक्रिय उपस्थिति पर सवाल उठाते हुए कहा कि यहां पर मैंने देखा कि कई चिकित्सक आये और कार्यक्रम के पूरा हुए बिना चले गये, यह स्थिति ठीक नहीं है। चार लाख डॉक्टरों की संख्या वाली इंडियन मेडिकल एसोसिएशन विश्व की सबसे अधिक सदस्यों वाली संस्था है, अगर हम संगठित होकर रहेंगे तो शक्ति भी हमारे पास होगी। हमें मौकों पर अपनी एकजुटता दिखानी चाहिये।
आईएमए लखनऊ के अध्यक्ष डॉ मनीष टंडन ने आये हुए अतिथियों का स्वागत करते हुए डॉक्टरों के प्रति हिंसा पर चिंता जतायी, उन्होंने कहा कि राजस्थान के दौसा में डॉ अर्चना शर्मा द्वारा आत्महत्या की घटना पर चिंता जताते हुए मौजूदा हालातों को सुधारने की जरूरत बतायी।
स्त्री एवं प्रसूती रोग विशेषज्ञ डॉ अनुराधा अग्रवाल द्वारा लिखी गयी पुस्तक महिषासुर, न्याय की विडंबना जो कि समाज की संकुचित मानसिकता और असहिष्णुता पर प्रहार करती है का विमोचन भी किया गया। लखनऊ नर्सिंग होम एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ अनूप अग्रवाल ने आईएमए और और लखनऊ नर्सिंग होम एसोसिएशन की हाल के वर्षों की उपलब्धियां गिनाते हुए कहा कि डॉक्टरों के खिलाफ हिंसा का एक्ट 2018 में पारित करवाया। पॉल्यूशन का प्रमाण पत्र पांच साल के लिए कराया, भूमि का उपयोग की नोटिस रुकवायीं, नगर निगम रजिस्ट्रेशन की नोटिस पर होने वाले एक्शन को रुकवाया। पुराना क्लीनिकल इस्टेब्लिशमेंट एक्ट को संशोधित कर 50 बेड तक के अस्पतालों को इस एक्ट से बाहर रखने का कार्य भी एसोसिएशन ने लग कर कराया। उन्होंने कहा कि इन सभी कार्यों में डॉ नीरज बोरा का पूरा सहयोग उन्हें मिला। उन्होंने कहा चिकित्सक अपनी अहमियत समझें और एसोसिएशन से जुड़ें।
चिकित्सकों ने कविताओं में उकेरे मन के भाव
डॉ वीरेन्द्र यादव ने अपने भावों को कविता में पिरोते हुए कहा कि
उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक के लिए कहा कि ब्रजेश, आपका क्या गुणगान करूं आप तो ब्रज ईश हैं आज की तारीख में आप चिकित्सा जगत के जगदीश हैं…
डॉ नीरज बोरा के लिए कहा कि नीरज जी आप कमल पुष्प बन कर आये हैं डॉक्टर्स डे पर आज आशीर्वाद रूपी पुष्प की वर्षा कर आये हैं…
डॉ बिपिन पुरी के लिए कहा कि लेफ्टिनेंट जनरल के मस्तक पर राष्ट्र चिन्ह जंचता है
डॉक्टर्स डे पर इनके सम्मान में एक सैल्यूट तो बनता है…
कविता में ही एक शपथ ली
पाश्चात्य सभ्यता से प्रेरित होकर चिकित्सा को पूर्ण व्यवसाय हम नहीं बनने देंगे
दर्द से पीडि़त मरीज को दया करुणा से भर हम देंगें…
अग्निवीर पर कहा कि अग्निपथ पर चलकर ही तुम अग्निवीर बन पाओगे अग्नि के गोले बनकर राष्ट्र की रक्षा कर पाओगे…
योग चिकित्सक डॉ रानी अग्रवाल ने चिकित्सक को भगवान का रूप कहे जाने पर अपने विचार प्रकट करते हुए कहा कि ईश्वर को चिकित्सक का कार्य इतना पसंद आया कि उन्होंने अपना नाम ही चिकित्सक को दे डाला। उन्होंने डॉक्टर का चित्रण और उसकी व्यथा के बारे में अपनी कविता में कहा
है पहचान मेरी, सफेद रंग में लिपटा हूं
कभी दर्द से जूझा हूं मैं दर्द से लिपटा हूं
कभी सुबह पहुंचा मैं घर को कभी नींद से आधा जागा हुं,
कभी मिला न खाना कभी समय पर कभी छोड़ निवाला भागा हूं,
उम्मीद भी कभी न दे पाऊं कभी मैं दवा घोलकर देता हू कोई कसूर बताता मेरा कोई भगवान भी कहता है देख न पाया कोई अबतक अंदर मेरे भी एक इंसान भी रहता है।
इस मौके पर करीब 130 चिकित्सकों को सम्मानित किया गया। इस मौके पर भारतीय जनता पार्टी के चिकित्सा प्रकोष्ठ लखनऊ महानगर के संयोजक डॉ शाश्वत विद्याधर ने डॉ नीरज बोरा को पुष्पगुच्छ देकर उनका अभिनंदन किया। इस मौके पर पूर्व अध्यक्ष डॉ रमा श्रीवास्तव, डॉ नईम अहमद शेख ने भी समारोह को सम्बोधित किया। धन्यवाद प्रस्ताव शाखा सचिव डॉ संजय सक्सेना ने प्रस्तुत किया। मंच का संचालन डॉ सरिता सिह, डॉ अनीता सिंह, डॉ वारिजा सेठ, डॉ प्रांजल अग्रवाल ने किया।
इस मौके पर डॉ पीके गुप्ता, डॉ आरबी सिंह, डॉ एएम खान, डॉ रुखसाना खान, डॉ राजेन्द्र प्रसाद, डॉ चन्द्रावती, डॉ इंदु टंडन, डॉ मंजू शुक्ला, डॉ हेमप्रभा, डॉ राकेश सिंह, डॉ अभिषेक शुक्ला, डॉ संजय लखटकिया, डॉ अलीम सिद्दीकी, डॉ सुमित सेठ, डॉ प्रीती कुमार, डॉ सरस्वती, डॉ मनोज अस्थाना सहित बड़ी संख्या में चिकित्सक उपस्थित रहे।