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दवाओं के साथ योग और व्‍यायाम की बड़ी भूमिका है आर्थराइटिस में

-आर्थराइटिस फाउंडेशन ऑफ लखनऊ ने आयोजित की साइकिलथॉन-वॉकाथॉन

सेहत टाइम्‍स ब्‍यूरो

लखनऊ जीवन शैली बीमारियों में पहला स्‍थान रखने वाली आर्थराइटिस शारीरिक रूप से तो जोड़ों की बीमारी है, लेकिन इसका असर व्‍यक्ति के पूरे जीवन पर पड़ता है। दवाओं के साथ ही योग और व्‍यायाम की इसमें बड़ी भूमिका है।

यह बात विश्‍व आर्थराइटिस दिवस पर आर्थराइटिस के प्रति लोगों को जागरुक करने के उद्देश्य से आयोजित साइकिलाथॉन, वॉकाथॉन व योग समारोह के अवसर पर आर्थराइटिस फाउंडेशन ऑफ लखनऊ के संस्थापक डॉ. संदीप कपूर व डॉ संदीप गर्ग ने कही। कार्यक्रम का आयोजन सोशल डिस्‍टेंसिंग के साथ किया गया।

साइकिलथॉन व वॉकोथॉन गोमती नगर स्थित हेल्थ सिटी ट्रॉमा सेंटर एंड सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल से शुरू होकर जनेश्‍वर मिश्र पार्क तक गयी। कार्यक्रम के आयोजन सचिव व आर्थराइटिस फाउंडेशन ऑफ लखनऊ के संस्थापक डॉ. संदीप कपूर ने बताया कि प्रतिभागी साइकिलिंग के बाद जनेश्वर मिश्र पार्क पहुचे जहाँ योग सत्र का आयोजन एक्सपर्ट्स की देख रेख में किया गया था। कार्यक्रम में योग अभ्यास व पैदल चलने (वाक) का भी आयोजन किया गया । 

कार्यक्रम में मुख्य अतिथि समाजसेवी व व्‍यवसायी अनिल सिंह थे। इनके अलावा डॉ.संदीप कपूर व डॉ. संदीप गर्ग के साथ ही डॉ क़े बी जैन, रमा जैन, डॉ. दर्शना कपूर, डॉ राजेश अरोड़ा, डॉ सुधीर कपूर, डॉ मोनिका, डॉ ए. एस. पांडेय, डॉ. पुलकित सिंह, जयदीप, नवनीत गौड़, इन्द्रसेन सिंह, मो. अनस, गोल्डी व अमित पांडेय सहित कई अन्‍य लोग शामिल रहे। आयोजन में लखनऊ के सम्मानित कई साइकिल ग्रुप के द्धारा भी बढ़-चढ़ कर भाग लिया गया।

डॉ. कपूर ने बताया कि लखनऊ में लगभग 5 लाख व्यक्ति आर्थराइटिस से प्रभावित हैं। भारत में यह संख्या 10 करोड़ है। आर्थराइटिस फाउण्डेशन ऑफ लखनऊ विगत पाँच वर्षों से आर्थराइटिस जागरूकता के लिए कार्य कर रही है जिसमें कई प्रकार के जागरूकता कार्यक्रम शामिल हैं। लखनऊ के संस्थापक डॉ. संदीप गर्ग एवं डॉ. संदीप कपूर ने व्यायाम की महत्ता पर प्रकाश डाला और आर्थराइटिस/गठिया रोग के लक्षण व बचाव पर प्रकाश डाला।