-नेत्र रोग विभाग के पीछे बनी मजार के पास अतिक्रमण को हटाया गया, मजार यथावत
-बढ़ते बवाल पर काबू पाने के लिए कई थानों की पुलिस और पीएसी बुलानी पड़ी
-केजीएमयू प्रशासन की दो टूक- हम अपनी जमीन खाली करा रहे, मजार नहीं तोड़ी जा रही

सेहत टाइम्स
लखनऊ। किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्वविद्यालय केजीएमयू के नेत्र विभाग के पीछे बनी मजार के आसपास केजीएमयू की जमीन पर चल रहे अवैध अतिक्रमण हटाने को लेकर आज 26 अप्रैल को सुबह बवाल हो गया। बताया जाता है कि इस दौरान वहां पहुंचे चिकित्सकों पर दुकानदारों ने हमला कर दिया। अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई के विरोध में कुछ लोगों ने पथराव किया। हमले में दो प्रोफेसर समेत कुछ अन्य लोग घायल हो गये। जैसे-जैसे खबर फैली घटना स्थल पर अन्य चिकित्सकों व रेजीडेंट डॉक्टरों का पहुंचना शुरू हो गया। कई थानों की पुलिस ने पहुंचकर स्थिति को अपने काबू में लिया। इन दुकानों को हटाने के लिए पिछले छह महीनों से नोटिस दी जा रही थी। खबर है कि बड़ी मशक्कत के बाद लोगों ने अतिक्रमण से अपने सामान निकाले। उसके बाद अब अतिक्रमण पर बुलडोजर चलाने की कार्रवाई शुरू हुई। पहले एक बुलडोजर था बाद में एक और बुलडोजर मंगवाया गया। मौके पर पीएसी की एक कंपनी भी तैनात रही।


इस बारे में केजीएमयू प्रशासन के ओर से मीडिया प्रवक्ता डॉ केके सिंह ने कहा है कि केजीएमयू प्रशासन द्वारा नेत्र विभाग के पीछे स्थित क्षेत्र में अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई शुरू कर दी गई है। उन्होंने स्पष्ट किया है कि केवल अतिक्रमित भूमि को ही खाली कराया जा रहा है, जो कि केजीएमयू की संपत्ति है।
केजीएमयू प्रशासन ने भरोसा दिलाया है कि नेत्र विभाग के पीछे स्थित मजार (शाहमीना शाह) को पूर्ववत स्थिति में ही रहने दिया जाएगा और उसके खिलाफ किसी भी प्रकार की कोई कार्यवाही नहीं की जाएगी। डॉ केके सिंह ने कहा कि मजार (शाहमीना शाह) को छोड़कर अन्य सभी अतिक्रमण को तत्काल प्रभाव से हटाया जा रहा है, ताकि इस क्षेत्र का उपयोग मरीजों की सुविधाओं और स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार के लिए किया जा सके। केजीएमयू प्रबंधन का उद्देश्य इस स्थान को जनकल्याण के कार्यों में लाना है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि लोग किसी भी प्रकार की अफवाह पर ध्यान न दें और इसमें अपना सहयोग दें। उन्होंने कहा कि इस अभियान का मकसद केवल चिकित्सा सेवाओं को बेहतर बनाना और परिसर को अतिक्रमण मुक्त करना है। अतिक्रमण को हटाया जा रहा है, साथ ही शांतिपूर्ण तरीके से लोग अपने आप भी हटा रहे हैं। यह भी स्पष्ट करना है कि इसमें जो मजार है उसका अतिक्रमण से कोई भी लेना-देना नहीं है। वह अपनी जगह पर पूर्णत: सुरक्षित है।
