-विक्रम संवत के अनुसार नव वर्ष मनाने की जागरूकता के लिए डेढ़ दशक से कार्य कर रही है नव वर्ष चेतना समिति
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सेहत टाइम्स
लखनऊ। नववर्ष चेतना समिति की एक बैठक शुक्रवार 28 फरवरी को गौरांग क्लीनिक एंड सेंटर फॉर होम्योपैथिक रिसर्च कपूरथला पर आयोजित की गयी। समिति के अध्यक्ष डॉ गिरीश गुप्ता की अध्यक्षता मे आयोजित इस बैठक में मुख्य रूप से आगामी 30 मार्च, 2025 को प्रारम्भ होने वाले भारतीय नववर्ष विक्रम सम्वत 2082 के आगमन पर 29 एवं 30 मार्च, 2025 को आयोजित दो दिवसीय कार्यक्रम की तैयारियों पर चर्चा और समीक्षा की गयी। ज्ञात हो दो दिवसीय समारोह के प्रथम दिवस नवसंवत्सर की पूर्व संध्या 29 मार्च को सम्राट विक्रमादित्य पर संगोष्ठी व स्मारिका नव चैतन्य विशेषांक का विमोचन किया जायेगा तथा नवसंवत्सर के प्रथम दिवस 30 मार्च को भव्य सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया जायेगा।
समिति के सचिव डॉ सुनील अग्रवाल ने यह जानकारी देते हुए बताया कि बैठक में नववर्ष पर आयोजित होने वाले दो दिवसीय समारोह की तैयारियों की विस्तार से समीक्षा की गयी। उन्होंने बताया कि बैठक में समिति के तत्वावधान में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के शताब्दी वर्ष पर आयोजित की जा रहीं संगोष्ठियों पर भी चर्चा हुई। उन्नाव और लखनऊ में हो चुकी संगोष्ठियों के बाद अब अगली संगोष्ठी बाराबंकी में होनी है, इस संगोष्ठी के आयोजन की मुख्य जिम्मेदारी सम्भालने वाले राम स्वरूप यादव ने बताया कि संगोष्ठी आगामी 8 मार्च को प्रात: 11 बजे से अपरान्ह 2 बजे तक नगर पालिका बाराबंकी परिसर में आयोजित की जायेगी। इस संगोष्ठी में लगभग 250 लोगों के शामिल होने की संभावना है।
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बैठक में अपने अध्यक्षीय सम्बोधन में डॉ गिरीश गुप्ता ने दो दिवसीय समारोह के लिए तैयारियों पर संतुष्टि जताते हुए आशा जतायी कि मुझे उम्मीद है कि सभी के प्रयास से ज्यादा से ज्यादा लोग समारोह में पहुंचेंगे और यह समारोह पूरी भव्यता के साथ सम्पन्न होगा। उन्होंने कहा कि इस बैठक में समिति के गठन के सूत्रधार अमरनाथ भी मौजूद हैं। उन्होंने कहा कि विक्रम सम्वत के रूप में भारतीय नववर्ष को मनाने के लिए जन-जन में जागरूकता पैदा करने के उद्देश्य से गठित समिति का जो बीजारोपण अमरनाथ जी ने किया था, उसमें खाद डाली डॉ एससी राय ने, आज वह पेड़ पुष्पित और पल्लवित होते दीख रहा है। समाज में इसका अच्छा संदेश जा रहा है। लोगों में भारतीय नववर्ष को लेकर उत्साह दिनोंदिन बढ़ता जा रहा है।
उन्होेंने कहा कि इस वर्ष तो यह और भी खास बन गया है क्योंकि यह विश्व के सबसे बड़े संगठन राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की स्थापना का शताब्दी वर्ष है। नव वर्ष चेतना समिति भी इस उपलक्ष्य में संगोष्ठियों का आयोजन कर रही है। नव संवत्सर आगमन के समारोह में विमोचन की जाने वाली स्मारिका का विषय भी संघ की स्थापना को समर्पित है। संघ के शताब्दी वर्ष को मनाने के में नव वर्ष चेतना समिति का भागीदार बनना हम सभी के लिए सौभाग्य की बात है। उन्होंने बैठक में शामिल होने के लिए सभी को धन्यवाद ज्ञापित किया। बैठक में समिति की संरक्षक रेखा त्रिपाठी, अध्यक्ष डॉ गिरीश गुप्ता, महामंत्री डॉ सुनील अग्रवाल, पूर्व कुलपति ल वि वि, नव वर्ष चेतना समिति के कार्यकारी अध्यक्ष प्रो एसपी सिंह, वरिष्ठ प्रचारक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ अमरनाथ जी, पूर्व सदस्य उ.प्र बाल अधिकार संरक्षण आयोग श्याम जी, अजय कुमार सक्सेना, श्याम किशोर त्रिपाठी, डॉ रंजना द्विवेदी, डॉ संगीता शुक्ला, मुदित सिंघल, पुनीता अवस्थी, समीर चंदेल, एसएस गगन, राम स्वरूप यादव व डॉ राजेश शुक्ला भी उपस्थित रहे।
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