पीजीआई में तीसरे यंग हेमेटोलॉजिस्ट्स ओरियन्टेशन प्रोग्राम में देश भर से आये चिकित्सक छात्रों को जाने-माने विशेषज्ञों ने दी महत्वपूर्ण जानकारियां
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में पहली बार चिकित्सा के क्षेत्र में अलग से हेमेटोलॉजी विभाग स्थापित करने वाली संजय गांधी पीजीआई, लखनऊ के हेमेटोलॉजी विभाग की विभागाध्यक्ष प्रो सोनिया नित्यानंद का सपना है कि ब्लड कैंसर के मरीजों के बेहतर इलाज के लिए जो शुरुआत उन्होंने की थी, उसे आज के चिकित्सक और आगे ले जायें। देखा जाये तो देश में हेमेटोलॉजी के क्षेत्र में स्पेशिलिस्ट डॉक्टरों की कमी है, इसके लिए उन्होंने चिकित्सकों से इस क्षेत्र में आने और सुपर स्पेशियलाइजेशन करने का आह्वान किया। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि गंभीर हालत के मरीजों और उनके परिजनों से भी कैसे व्यवहार अच्छा किया जा सकता है, इसके गुर भी बताये। एसजीपीजीआई में देश भर से आये चिकित्सक छात्रों को देश के जाने-माने विशेषज्ञों ने उपचार के क्षेत्र में नयी-नयी जानकारियां दीं।
आपको बता दें संजय गांधी पीजीआई में तीसरा यंग हेमेटोलॉजिस्ट्स ओरियन्टेशन प्रोग्राम का आयोजन 18 और 19 अगस्त को किया गया। इस कार्यक्रम का आज समापन हो गया। इस बारे में डॉ सोनिया नित्यानंद ने बताया कि उनकी इच्छा है कि यंगस्टर डॉक्टर जो आज डीएम कर रहे हैं, ये कल के कन्सल्टेंट होंगे। उन्होंने आज अपने सम्बोधन में कहा कि ब्ल्ड कैंसर से ग्रस्त मरीज का इलाज करते समय चिकित्सक को किन बातों को ध्यान में रखना चाहिये। आज ब्लड कैंसर पर जानकारी दी गयी। डॉ सोनिया ने ए प्लास्टिक एनीमिया के बारे में अपना व्याख्यान दिया। डॉ सोनिया ने चिकित्सकों को सॉफ्ट स्किल के साथ मरीज का उपचार करने की सलाह देते हुए बताया कि जिस मरीज को ब्लड कैंसर की शिकायत है और वह बिल्कुल मरणासन्न स्थिति में हो गया है उसे और उसके परिजनों से भी किस तरह बात की जाये, उन्हें कैसे पॉजिटिव रखा जाये इसके लिए इस बारे में ध्यान रखना चाहिये। उनके साथ किस प्रकार का व्यवहार किया जाये।
ओरियन्टेशन प्रोग्राम के दूसरे दिन कोलकाता के प्रो मेमेन चांडी, मुम्बई के प्रो नवीन खत्री ने देश भर से आये यंग चिकित्सकों को विभिन्न विषयों के बारे में बताया। इसके अलावा दिल्ली के सर गंगाराम हॉस्पिटल के बृज अजय शर्मा ने बताया कि बोन मैरो ट्रांसप्लांट यूनिट की स्थापना के लिए क्या-क्या करना चाहिये। व़डोदरा से आयी डॉ सीमा भटवाडेकर और एसजीपीजीआई के प्रो राकेश अग्रवाल ने भी चिकित्सक छात्रों को महत्वपूर्ण जानकारियां दीं।
दो दिवसीय इस ओरियन्टेशन प्रोग्राम का आयोजन हेमेटोलॉजी विभाग द्वारा हेमेटोलॉजी फाउंडेशन के सहयोग से किया गया। कार्यक्रम की आयोजक विभागाध्यक्ष प्रो सोनिया नित्यानंद के नेतृत्व में डॉ संजीव के. यादव, डॉ अंशुल गुप्ता, डॉ रुचि, डॉ के रहमान, डॉ दिनेश सहित विभाग की पूरी फैकल्टी ने अपना सहयोग दिया।
आपको बता दें कि संजय गांधी पीजीआई में हेमेटोलॉजी विभाग की दो विंग कार्य कर रही हैं, एक क्लीनिकल हेमेटोलॉजी विंग जिसमें डॉक्टर मरीज को देखते हैं और सलाह देते हैं तथा दूसरी विंग लैब हेमेटोलॉजी विंग, इस विंग में पैथोलॉजिस्ट ब्लड कैंसर वाले मरीजों की जांच करते हैं। इस तरह अगर देखा जाये तो मरीज का इलाज करने वाला डॉक्टर जांच में जांच करने वाला डॉक्टर उसके इलाज में रुचि लेता है जिससे दोनों विंग्स के तालमेल का लाभ मरीज को मिलता है।