बुखार के साथ सांस लेने की तकलीफ लेकर केजीएमयू आया था
लखनऊ। किंग जॉर्ज चिकित्सा विश्व विद्यालय केजीएमयू में स्वाइन फ्लू से ग्रस्त एक व्यक्ति की मृत्यु होने का समाचार है। लखीमपुर का मूल निवासी यह व्यक्ति दुबई में काम करता था, वहीं 12 दिनों पहले इसे बुखार और सांस में तकलीफ की शिकायत हुई थी। यह व्यक्ति इलाज कराने लखनऊ आया था। केजीएमयू के अनुसार स्वाइन फ्लू की पुष्टि का यह इस साल का पहला मरीज था।
मीडिया सेल के इंचार्ज डॉ संतोष कुमार से मिली जानकारी के अनुसार मोहम्मद आतिफ उम्र लगभग 25 साल का नौजवान जो लखीमपुर का रहने वाला है और दुबई में काम करता था। दुबई में ही लगभग 12 दिन पहले इसे बुखार और सांस की शिकायत हुई जिसके लिए वह केजीएमयू के लारी कार्डियोलॉजी में दिखाने आया। लारी में जांच किये जाने पर उसे हाइपर ट्रॉफिक आब्सट्रक्टिव कार्डियो मायोपैथी और निमोनिया के लक्षण पाए गए। इसके बाद मरीज को मेडिसिन रेफरेंस भेजा गया, जिसके लिए उसके लक्षणों को देखते हुए स्वाइन फ्लू की संभावना व्यक्त की गई और H1N1 की जांच कराई गई।
डॉ संतोष कुमार द्वारा बताया गया है कि इसके बाद मरीज सैंपल देकर सहारा अस्पताल चला गया, सहारा अस्पताल में भी इसकी स्वाइन फ्लू की जांच हुई और स्वाइन फ्लू होने की पुष्टि भी हुई। इसके साथ यहां केजीएमयू की लैब में भी सैंपल में उसके H1N1 वायरस संक्रमण पाए जाने की पुष्टि हुई। इसके बाद सहारा अस्पताल वालों ने इलाज के लिए केजीएमयू रेफर कर दिया, जहां पर इसी सोमवार को डा. के.के. गुप्ता, मेडिसिन के अधीन भर्ती कर लिया गया। मरीज को सांस की तकलीफ काफी बढ़ चुकी थी और साथ में BP भी गिर रहा था। इसके बाद उसे तीमारदारों की सहमति के उपरांत वेंटिलेटर रखा गया लेकिन उपचार के बाद भी उसे बचाया नहीं जा सका। आज सुबह मरीज की मृत्यु हो गई।
डॉ संतोष के अनुसार मरीज को बुखार आदि आने के लक्षण दुबई में ही प्रारंभ हो गए थे, जिससे संभावना यह है कि उसे स्वाइन फ्लू का संक्रमण वहीं से हुआ होगा। केजीएमयू में स्वाइन फ्लू का H1N1 पोजिटिव इस वर्ष का पहला केस पाया गया है। इस मरीज के संपर्क में रहे व्यक्तियों को यदि जुखाम बुखार के लक्षण पाए जाते हैं तो उन्हें अपनी जांच करानी चाहिए और उनके लिए हमारे यहां दवा भी उपलब्ध है।