-लोक निर्माण विभाग, परिवहन विभाग एवं वन विभाग का मामला
लखनऊ। राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद जेएन तिवारी गुट के अध्यक्ष जे एन तिवारी ने लोक निर्माण विभाग, परिवहन विभाग एवं वन विभाग में दैनिक वेतन वर्क चार्ज एवं संविदा कर्मियों का विनियमितीकरण न किये जाने को लेकर मुख्य सचिव को पत्र लिखकर कार्यवाही का अनुरोध किया है।
यह जानकारी देते हुए जेएन तिवारी ने कहा है कि शासन ने 24 फरवरी 2016 को एक शासनादेश जारी कर प्रदेश के राजकीय विभागों, स्वशासी संस्थायों, सार्वजनिक उपक्रमों, स्थानीय निकायों, विकास प्राधिकरण एवं जिला पंचायतों में 31 दिसंबर 2001 तक नियुक्त दैनिक वेतन वर्क चार्ज एवं संविदा कर्मियों का विनियमितीकरण करने की दिशा निर्देश जारी किए हैं। इस शासनादेश का प्रदेश के लोक निर्माण विभाग, परिवहन विभाग एवं वन विभाग में अनुपालन नहीं हो रहा है।
उन्होंने कहा कि मुख्य सचिव स्तर पर राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद की हुई बैठकों में लगातार यह प्रकरण उठाया जाता रहा है। अपर मुख्य सचिव कार्मिक के स्तर से परिवहन विभाग एवं वन विभाग को कार्यवाही के लिए निर्देश भी जारी किए गए हैं, परंतु फिर भी कार्यवाही नहीं हो रही है। वन विभाग में लगभग 8500 दैनिक वेतन, वर्क चार्ज, संविदा कर्मी हैं, जिनकी नियुक्ति 31 दिसंबर 2001 से पूर्व हुई है एवं विनियमितीकरण की अर्हताएं पूरी करते हैं फिर भी उनका नियमितीकरण नहीं हो पाया है।
उन्होंने कहा है कि जनपद महोबा में 22 संविदा कर्मी है जनपद में 44 पद भी रिक्त हैं फिर भी विभाग द्वारा दैनिक वेतन कर्मियों को नियमित नहीं किया जा रहा है। शासनादेश के क्रियान्वयन पर विभागीय उदासीनता पर चिंता व्यक्त करते हुए जे एन तिवारी ने मुख्य सचिव को पत्र लिखकर इस संबंध में सभी अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव को एक निर्देश जारी कर तत्काल कार्यवाही सुनिश्चित कराने का अनुरोध किया है।
उन्होंने कहा है कि यदि शीघ्र ही परिवहन निगम ,लोक निर्माण एवं वन विभाग के दैनिक वेतन एवं वर्क चार्ज कर्मचारियों का नियमितीकरण नहीं हुआ तो प्रदेश में आंदोलन की स्थिति बन सकती है। उन्होंने मुख्य सचिव से इस संदर्भ में तत्काल हस्तक्षेप करने का अनुरोध किया है ।