लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ द्वारा अधिकारियों को दी जा रही चेतावनियों का कुछ अधिकारियों पर कोई असर नहीं है। स्वास्थ्य विभाग भी ऐसे लापरवाह अधिकारियों से अछूता नहीं है। विभाग में कार्यरत वे चिकित्साधिकारी जिनके ऊपर प्रदेश की जनता के स्वास्थ्य की देखभाल की जिम्मेदारी है वे अपनी जिम्मेदारी और ऊपर के आदेशों को हवा में उड़ा रहे हैं और मोटी सेलरी लेकर मौज उड़ा रहे हैं। आज 12 जून को मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ जीएस बाजपेई ने जब आज राजधानी के बख्शी का तालाब और इटौंजा के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का अचानक निरीक्षण किया तो दोनों जगह चिकित्सक नदारद मिले। सीएमओ ने दोनों के खिलाफ कारवाई के आदेश दिये हैं।
मिली जानकारी के अनुसार सीएमओ ने सोमवार को इटौंजा और बख्शी का तालाब सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रो सीएचची का औचक निरीक्षण किया तो उन्हें चार चिकित्सक डॉ. केपी मिश्रा, डॉ.संदीप, डॉ मधु वर्मा और डॉ एसएन पल्लवी निगम ड्यूटी से अनुपस्थित मिले। यही नहीं वहां मौजूद मरीजों ने सीएमओ को बताया कि डॉक्टर साहब अक्सर गायब रहते हैं। सीएमओ ने इस पर सख्त नाराजगी जताते हुए चारों चिकित्सकों की एक दिन की सैलरी काटने का आदेश दिया है।
ज्ञात हो दूरदराज इलाकों में तैनात चिकित्सकों में अनेक चिकित्सकों का यही हाल है, ये अपनी ड्यूटी पर नियमित रूप से जाते नहीं हैं, और साठगांठ करके अपनी नौकरी चलाते रहते हैं। इनकी असलियत तभी सामने आती है जब औचक निरीक्षण होता है।