लोहिया अस्पताल के पोस्टमार्टम हाउस में रखा था शव, दोषी तीन संविदा कर्मी हटाये गये
लखनऊ। लखनऊ के गोमती नगर स्थित डॉ राम मनोहर लोहिया संयुक्त चिकित्सालय में कर्मचारियों की लापरवाही के चलते एक महिला के शव को कुत्तों ने अपना निवाला बना लिया। महिला की मौत होने के बाद पोस्टमार्टम के लिए अस्पताल के शव गृह में शव रखा था। जहां रात में यह शर्मनाक घटना घटी। इसके बारे में दुखी परिजनों को सवेरे पता चला जब वह शव लेने अस्पताल पहुंचे, वहां का नजारा देख कर परिजनों के होश उड़ गये। अस्पताल प्रशासन ने घटना में दोषी मानते हुए तीन कर्मचारियों को हटा दिया है, ये तीनों कर्मचारी संविदा पर तैनात थे।
मिली जानकारी के अनुसार चिनहट थाना क्षेत्र के सिकंदरपुर की रहने वाली 40 वर्षीया ऊषा तिवारी पत्नी विनोद कुमार तिवारी को शनिवार को पेट दर्द की शिकायत पर लोहिया अस्पताल में भर्ती करवाया था। मृत महिला के भतीजे आनन्द कुमार तिवारी ने बताया कि पेट दर्द की शिकायत को लेकर हम लोगों ने कल अस्पताल में भर्ती कराया था जहां शनिवार शाम 6 बजे ऊषा तिवारी ने दम तोड़ दिया। आनन्द ने बताया कि डॉक्टरों ने कहा कि शव का पोस्टमार्टम कराया जायेगा, इसलिये शव को अस्पताल के पोस्टमार्टम हाउस में रखवा दिया गया था। आनन्द ने बताया कि सुबह जाकर जब देखा हम लोगों के होश उड़ गये। उन्होंने बताया कि शव बुरी तरह से क्षत-विक्षत हो चुका था, फर्श पर खून पड़ा था तथा कान, नाक, बाल सब गायब थे। शव का चेहरा बहुत ही विकृत हो चुका था। उन्होंने बताया कि शव के पास ही जानवर के पैरों के निशान भी थे, आनन-फानन में पुलिस को सूचना दी गयी, पुलिस ने मौके पर पहुंच कर शव को कब्जे में लेकर आगे की कार्यवाही की। आनन्द ने बताया कि वह भाजपा के स्थानीय नेता भी हैं, उन्होंने कहा कि हम लोग चाहते हैं कि शव का पोस्टमार्टम का लाइव टेलीकास्ट करते हुए वीडियोग्राफी करायी जाये।
बताया जाता है कि देर रात पीएम हॉउस का चैनल बंद कर दिया गया था। लोहे के चैनल का कुछ हिस्सा खुला था, इसी के रास्ते से कुत्तों ने प्रवेश किया होगा। कुत्तों ने मृत महिला के मुंह को नोच कर खा लिया। खून से लथपथ महिला के शव को कुत्तों ने खूब घसीटा। कुत्तों के खून से सने पैरों के निशान फर्श पर देख वहां परिजनों के होश उड़ गए।
इस बारे में अस्पताल के निदेशक डॉ डीएस नेगी ने घटना को दुखद बताते हुए पोस्टमार्टम हाउस में बरती गयी लापरवाही के लिए तीन कर्मचारियों को दोषी माना है तथा तीनों को हटा दिया गया है। हटाये गये दोषी कर्मचारी सुरक्षा गार्ड, सुपरवाइजर तथा वार्ड ब्वॉय तीनों संविदा पर कार्यरत थे।