लखनऊ। गर्भधारण में एक्स व वाई क्रोमोजोन के संयोग में गड़बड़ी होने पर सेक्स डिटर्मिन डिस ऑर्डर की समस्या आती है। फीमेल गर्भ में वाई क्रोमोजोन के एलिमेंट के आने से लडक़ी में पुरुषों जैसी आवाज, शरीर में बाल आने व शरीरिक विकास होता है। इसे डिस ऑर्डर ऑफ सैक्सुअल डिसफंक्शन सर्जरी द्वारा ठीक किया जाता है। नवजात में जिस जेंडर के लक्षण अधिक होते हैं उसी जेंडर में उसे परिवर्तित कर देते हैं। यह जानकारी संजय गांधी पीजीआई में यूरोलॉजी विभाग के एचओडी प्रो.अनीस श्रीवास्तव ने दी । इस तरह की सर्जरी का लाइव प्रसारण आज यहां संजय गांधी पीजीआई में किया गया।
एसजीपीजीआई में दिखायी गयी सिंगल जेन्डर बनाने की सर्जरी
प्रो श्रीवास्तव ने बताया कि शरीर में आनुवांशिक खराबी या अन्य किसी कारण से पैदाइशी दिक्कत हो जाती है। गर्भ में एक्स व एक्स क्रोमोजोन के संयोग से स्त्री और एक्स व वाई क्र क्रोमोजोन के संयोग से गर्भ मे पुरुष जन्म लेता है। इन्ही क्रोमोजोन (जीन)में गड़बड़ी या खराबी आ जाने पर सैक्सुअल डिसऑर्डर की समस्या उत्पन्न हो जाती है। क्रोमोजोन की जानकारी देते हुये उन्होंने बताया कि सेल के ऊपर अधिसंख्य क्रोमोजोन होते हैं, एक-एक क्रोमोजोन के ऊपर 3-3 मिलियन जीन होते हैं, और हर जीन का काम (गुण) अलग अलग होता है। इन्हीं जीन के संयोग से सेक्स डिटर्मिन होता है। अगर इस संयोग में ही गलत हो गया तो गर्भ के विकास की पूरी चेन प्रकिया गड़बड़ हो जाती है। यही जीन प्रोटीन भी बनाते हैं।
अंतराष्ट्रीय पीडियाट्रिक यूरोलॉजी सर्जरी कार्यशाला में शुक्रवार को तीन ओटी में लाइव सर्जरी हुई। थर्ड ओटी में डिस ऑर्डर ऑफ सैक्सुअल डिसफंक्शन संबन्धित सर्जरी संपन्न हुई।