-सेव द चिल्ड्रन ने किया था लड़कियों व महिलाओं की सुरक्षा को लेकर घर से बाहर निकलने का आह्वान
लखनऊ। लखनऊवासी, नागरिक, युवा, सिविल सोसाइटी संगठन, राजनेता, शिक्षाविद और हिंसा से पीड़ित सभी लोग लखनऊ के शेरोज़ हैंगआउट में एकत्रित हुए, ताकि सेव द चिल्ड्रन द्वारा लोगों के सुरक्षा के लिए शहर की सड़कों को रौशन करने का पहल का समर्थन किया जा सके।
यह पहल #LightUpHerLife अभियान का हिस्सा थी, जिसे सेव द चिल्ड्रन द्वारा इस साल पूरे देश में चलाया गया है। यह अभियान 15 दिसंबर को मनाया गया। सेव द चिल्ड्रन, हम चाइल्डलाइन और रेड ब्रिगेड के साथ, जनसाधारण से आह्वान किया था कि वह सब 15 दिसंबर की शाम को 5 से 7 के बीच घरों से बाहर निकलें और अभियान में शामिल होकर बेहतर स्ट्रीट लाइटिंग की मांग करें, ताकि लड़कियों और महिलाओं को बाहर निकलने के लिए एक सुरक्षित वातावरण प्रदान किया जा सके।
राज्य में महिला सुरक्षा के लिए अपनी एकजुटता दिखाने के लिए लोगों ने एक हस्ताक्षर अभियान और प्रतीकात्मक कैंडल लाइटिंग के माध्यम से शेरोज़ हैंगआउट पर अपनी मांग रखी।
यह आयोजन 2012 की निर्भया घटना की पूर्व संध्या के साथ मेल खाती है और महिलाओं और लड़कियों के खिलाफ हिंसा को समाप्त करने के लिए अभियान के एक हिस्से के रूप में सरल समाधान के लिए जिम्मेदार है।
सेव द चिल्ड्रन, युवा के साथ, भारत में 19 स्थानों पर समुदाय और युवाओं के साथ जमीन पर कार्रवाई का नेतृत्व कर रहे हैं । वे उनके इलाकों में अंधेरे क्षेत्रों की पहचान कर बड़ी संख्या में प्रकाश व्यवस्था कर रहे हैं और सरपंच से लेकर संसद सदस्यों तक कर्त्तव्यनिष्ठा का आग्रह कर रहे हैं, ताकि महिलाओं और लड़कियों के लिए देश सुरक्षित हो सके।
सेव द चिल्ड्रन द्वारा चलाई गयी यह पूरा अभियान स्ट्रीट लाइट के महत्व पर केंद्रित है। अग्रणी अंतरराष्ट्रीय बाल अधिकार संगठन का मानना है – स्ट्रीट लाइट न केवल महिलाओं की सुरक्षा के लिए बल्कि सामान्य कल्याण के लिए भी महत्वपूर्ण हैं।