-एबीवी मेडिकल यूनिवर्सिटी के कुलपति ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री को पत्र लिखकर की मांग
सेहत टाइम्स ब्यूरो
लखनऊ। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष व नव स्थापित अटल बिहारी वाजपेयी मेडिकल यूनिवर्सिटी के प्रथम कुलपति डॉ एके सिंह ने भारत सरकार से मांग की है कि सैनिक और पुलिस कर्मियों की भांति डॉक्टरों एवं स्वास्थ्य कर्मियों के बलिदान की स्मृति में डॉक्टर मेमोरियल की स्थापना होनी चाहिए।
डॉक्टर्स डे के अवसर पर डॉ सिंह ने केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन को लिखे पत्र में कहा है कि मानवता की स्वास्थ्य सेवाओं में सदियों से समर्पित डॉक्टरों एवं स्वास्थ्य कर्मियों ने उपचार के दौरान अपने प्राणों की आहुति दी है, इसका प्रत्यक्ष प्रमाण है कि वर्तमान समय में वैश्विक महामारी कोरोना वायरस से संक्रमित रोगियों के इलाज के दौरान डॉक्टर एवं स्वास्थ्य कर्मी भी संक्रमित हो रहे हैं जिससे उनकी मृत्यु तक हो जा रही है। भारत में भी अब तक कई स्वास्थ्य कर्मी अपने कर्तव्यों का पालन करते हुए अपने प्राणों की आहुति दे चुके हैं।
डॉ सिंह ने लिखा है कि वर्तमान कोरोनावायरस की महामारी के अतिरिक्त अन्य जानलेवा रोगों के उपचार के दौरान भी डॉक्टर एवं स्वास्थ्य कर्मियों की मृत्यु तक हो जाती है, इन रोगों में एड्स, तपेदिक रोग, हेपेटाइटिस जैसी गंभीर जानलेवा बीमारियां प्रमुख कारकों में से हैं। डॉ सिंह ने लिखा है कि युद्ध में एवं देश के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले जवानों एवं पुलिस की स्मृति में जिस प्रकार से राष्ट्रीय स्मारक की स्थापना की गई है, इसी क्रम में डॉक्टरों एवं स्वास्थ्य कर्मियों के बलिदान को दृष्टिगत रखते हुए एक डॉक्टर मेमोरियल की स्थापना उनके त्याग, कर्तव्यपरायण, सेवा, समर्पण, साहस व बलिदान की स्मृति के साथ-साथ उनके परिवार वालों के भी त्याग व समर्पण को भी सम्मान प्रदान करेगा।
उन्होंने लिखा है कि आज भारत सरकार एवं संपूर्ण विश्व डॉक्टरों व स्वास्थ्य कर्मियों को योद्धा के समान सम्मानित कर रहा है। सदियों से डॉक्टरों व स्वास्थ्य कर्मियों के त्याग व बलिदान की उपेक्षा होती रही है। आज डॉक्टर्स डे पर समय है कि इनके त्याग और बलिदान को श्रद्धा सुमन अर्पित किए जाएं। उन्होंने लिखा है कि देश वासियों की सेवा में सदैव तत्पर रहने वाले इन डॉक्टरों एवं स्वास्थ्य कर्मियों की स्मृति में डॉक्टर मेमोरियल की स्थापना दिवंगत डॉक्टरों एवं स्वास्थ्य कर्मियों को श्रद्धांजलि देने के साथ ही वर्तमान समय में सेवाएं कर रहे डॉक्टरों व स्वास्थ्य कर्मियों को सर्वोत्तम सेवाओं के लिए प्रेरित भी करेगा।