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जरूरतमंद मरीजों की विटिलिगो सर्जरी का खर्च वहन करने का भी बीड़ा उठाया डॉ विवेक कुमार ने

-31 वर्षों से कुष्ठ रोगियों के लिए मोहनलालगंज पहुंचकर निःशुल्क ओपीडी संचालित कर रहे

डॉ विवेक कुमार

सेहत टाइम्स

लखनऊ। सफ़ेद दाग या विटिलिगो, जिसको यह हो जाता है तो उस मरीज को बहुत ही साइकोलॉजिकल ट्रॉमा होता है क्योंकि इंडियन सोसाइटी में सफेद दाग जिसको हो गया तो उसको खराब निगाह से देखा जाता है और आगे आने वाले समय में जब बच्चे बड़े होते हैं तो शादियां भी नहीं होती हैं, तय शादियां टूट जाती हैं। इससे आदमी परेशान होता है। ऐसी स्थितियों से लोगों को होने वाली परेशानी से आहत होकर लेप्रोसी मैन के रूप में पहचान बना चुके लखनऊ के वरिष्ठ चर्म रोग विशेषज्ञ डॉक्टर विवेक कुमार ने विटिलिगो के लिए होने वाली सर्जरी कराने में असमर्थ लोगों की सर्जरी का खर्च वहन करने की पहल की है। उन्होंने लोगों से अपील करते हुए कहा है कि जो लोग यह सर्जरी करवाने में सक्षम नहीं हैं, तो हम उनकी मदद के लिए तैयार हैं अगर किसी के पास इस तरह की कोई मरीज हो तो वह हमारे पास भेजें।

विश्व विटिलिगो दिवस पर विशेष मुलाकात में ‘सेहत टाइम्स’ से विशेष बातचीत में डॉ विवेक कुमार ने बताया कि विटिलिगो क्यों होता है यह अभी तक साइंस में किसी को पता नहीं है, बहुत सारे केसेस में जेनेटिक होता है और बहुत सारे केसेस में एक्वायर्ड होता है। इलाज की बात करें तो अगर शुरुआत में हमारे पास सफेद दाग मरीज आ जाता है तो काफी चांसेस होते हैं कि उसको कंट्रोल किया जा सकता है। जिस जगह बाल हैं उसकी जड़ से रंग आता है तो जैसे चेहरे, हाथ, पैर पर हैं तो वहां पर ज्यादा चांसेस होते हैं लेकिन अगर उंगलियों पर, होंठ पर, पेशाब की जगह, तो वहां मुश्किल से ठीक होते हैं। दिक्कत यह होती है कि मरीज जब इलाज शुरू करता है लेकिन उम्मीद करता है कि 10 दिन, महीने 2 महीने में ठीक हो जाएं, जबकि ऐसा होता नहीं है और वह भटकता रहता है डॉक्टर बदलता रहता है इस चक्कर में कभी ठीक नहीं हो पाता है।

अगर किसी तरह से मरीज को थोड़ा सा टाइम दिया जाए उसे समझाया जाए कि पहली बात तो यह समझ लें कि आपके दाग ठीक भी हो जाएं तो भी और ठीक न हों तब भी जिंदगी भर दवा चलेगी, आपको आना है, ज्यादा दवा इसकी नहीं होती लेकिन अगर आप टिकेंगे तभी कुछ रिजल्ट मिलेगा।

उन्होंने बताया कि पिछले 15-20 साल से सफेद दाग में बहुत तरह की सर्जरी हो रही हैं, लेकिन यह सर्जरी उन्हीं केसेस में हो सकती है जब दाग में स्थिरता हो, यानि ऐसा सफेद दाग जो न घट रहा है न बढ़ रहा हो। डॉ विवेक कुमार ने कहा कि सफ़ेद दाग बहुत बड़ा न हो, अगर 6 इंच तक का सफ़ेद दाग है, तो उनकी सर्जरी का खर्च उन्होंने स्वयं वहन करने की पहल की है, अभी यह शुरुआत है हाल में ही उन्होंने एक गर्ल चाइल्ड की यह सर्जरी डॉ अंकित कपूर से कराई है।

आपको बता दें डॉ विवेक कुमार पिछले 31 सालों से मोहनलालगंज में ज्योति नगर स्थित मदर टेरेसा की सोसाइटी द्वारा संचालित मिशनरी ऑफ चैरिटी 100 बिस्तरों वाले कुष्ठ पुनर्वास केंद्र (लेप्रोसी रिहैबिलिटेशन सेंटर) पर सप्ताह में 2 दिन लेप्रोसी के मरीजों की पहचान के लिए त्वचा रोग की निः शुल्क ओपीडी संचालित करते हैं, साथ ही अस्पताल में भर्ती लेप्रोसी के मरीजों को अपनी निः शुल्क सेवाएं दे रहे हैं। इसके अलावा सप्ताह में तीन दिन आलमबाग स्थित अपनी प्राइवेट क्लीनिक पर भी लेप्रोसी के गरीब मरीजों को यह सुविधा निःशुल्क उपलब्ध करा रहे हैं।

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