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महिलाएं हिम्‍मत रखें, घरवाले सपोर्ट दें तो ब्रेस्‍ट कैंसर की हार पक्‍की : पद्मिनी कोल्‍हापुरे

-चार वर्ष का हु‍आ केजीएमयू में स्‍थापित लखनऊ ब्रेस्ट कैंसर सपोर्ट ग्रुप

-नम्रता पाठक ने कहा, जीवन बहुत महत्‍वपूर्ण, अपना ध्‍यान रखें महिलाएं

सेहत टाइम्‍स

लखनऊ। बॉलीवुड अभिनेत्री पद्मिनी कोल्‍हापुरे ने आह्वान किया है कि ब्रेस्‍ट कैंसर से घबराने की जरूरत नहीं है, इसके प्रति जागरूक रहने की जरूरत है, क्‍योंकि जागरूकता से ही हम इसे शुरुआत में ही पकड़ सकते हैं और ऐसे समय घरवालों के सपोर्ट की अहम भूमिका है, ब्रेस्‍ट कैंसर को शुरुआत में पकड़ने पर इसका सफल इलाज सम्‍भव है, इसकी जीती-जागती मिसाल लखनऊ ब्रेस्ट कैंसर सपोर्ट ग्रुप है जिसमें शामिल महिलाओं ने ब्रेस्‍ट कैंसर पर विजय प्राप्‍त की है, और अब ये दूसरी कैंसरग्रस्‍त महिलाओं को अपनी मिसाल देकर मोटीवेट कर रही हैं।

पद्मिनी कोल्‍हापुरे ने ये विचार आज यहां किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी के एंडोक्राइन सर्जरी विभाग द्वारा स्‍थापित लखनऊ ब्रेस्ट कैंसर सपोर्ट ग्रुप के सफल चार वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में ‘’Celebrating Journey of Lucknow Breast Cancer Support Group: 4 Years’’ के मौके पर आयोजित समारोह में व्‍यक्‍त किये। उन्‍होंने इस ग्रुप के संस्‍थापक एंडोक्राइन सर्जरी विभाग के विभागाध्‍यक्ष डॉ आनन्‍द मिश्र के बारे में कहा कि ‘चले थे अकेले कारवां बनता चला गया, और उस कारवां में मैं शामिल हो गयी…। ज्ञात हो चार वर्ष पूर्व हुए आयोजित पिंक मैराथन, ब्रेस्‍ट कैंसर सर्वाइवर के फैशन शो के मौके पर भी कार्यक्रम में शामिल होने आयी थीं। पद्मिनी कोल्‍हापुरे ने कहा कि चार साल पहले आयी थी, तब से डॉ आनन्‍द मिश्र ने बहुत मेहनत की है। अभिनय के साथ ही गाने का शौक रखने वाली पद्मिनी कोल्‍हापुरे ने अपनी ही एक फि‍ल्‍म सौतन के गीत का मुखड़ा जिन्‍दगी प्‍यार का गीत है, इसे हर दिल को गाना पड़ेगा… गाकर उपस्थित श्रोताओं की भरपूर तालियां बटोरीं।

कार्यक्रम में मुख्‍य अतिथि के रूप में उपस्थित यूपी के उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक की पत्नी नम्रता पाठक ने कहा कि ‘जब तक सूरज चांद रहेगा, पद्मिनी कोल्‍हापुरे तेरा नाम रहेगा,’ उन्‍होंने कहा कि ब्रेस्‍ट कैंसर के प्रति जागरूकता के लिए जब आप इतनी दूर से आ सकती हैं तो हम महिलाएं यहीं रह कर जागरूक करने का प्रयास क्‍यों नहीं कर सकती हैं। उन्‍होंने महिलाओं से कहा कि घर पर मौजूद सभी सदस्‍यों के प्रति हमारी बहुत सारी जिम्‍मेदारियां होती हैं, ऐसे में किसी भी परिस्थिति में हमें हिम्‍मत नहीं हारनी हैं, हमारी बहनों को जीवन जीने के लिए निरंतर प्रयास करना पड़ेगा, क्‍योंकि मनुष्‍य का जीवन बहुत महत्‍वपूर्ण है। उन्‍होंने कहा कि महिलाएं तनाव से दूर रहें, क्‍योंकि तनाव में रहने पर अपने खानपान पर ध्‍यान नहीं देती हैं, और कुपोषण की शिकार हो जाती हैं।

मेरे मन में दो चीजें होती हैं ‘क्‍योर’ और ‘केयर’ : डॉ आनन्‍द कुमार मिश्रा

डॉ आनन्‍द कुमार मिश्रा ने अपने सम्‍बोधन में कहा कि इलाज के लिए आयीं कैंसरग्रस्‍त महिलाओं के मन में अनेक सवाल चल रहे होते हैं, कि ऐसा क्‍यों हुआ, मेरे साथ ही ऐसा क्‍यों हुआ, अब ठीक होगा कि नहीं, लोग क्‍या कहेंगे, दोबारा तो नहीं हो जायेगा आदि-आदि। उन्‍होंने कहा कि जबकि मेरे मन में दो चीजें होती हैं ‘क्‍योर’ और ‘केयर’। हम प्राथमिक स्‍टेज वालों को क्‍योर और एडवांस स्‍टेज के रोगियों को केयर से क्‍योर वाली स्‍टेज में लाने की कोशिश करते हैं। उन्‍होंने कहा कि इलाज के साथ ही इस सर्वाइवर्स ग्रुप की सदस्‍य इलाज ले रही महिलाओं को अपना उदाहरण देकर तरह-तरह से समझाते हैं। उन्‍होंने कहा कि ब्रेस्‍ट कैंसर को मात दे चुकी महिलाओं के इस सपोर्ट ग्रुप की सदस्‍यता की संख्‍या करीब 500 तक पहुंच चुकी है।  

इससे पूर्व विभाग के सर्जन डॉ कुलरंजन सिंह ने अपने विशेष अंदाज में आये हुए अतिथियों के बारे में परिचय कराते हुए शब्‍दों से उनका स्‍वागत किया। पद्मिनी कोल्‍हापुरे के बारे में बोलते हुए उन्‍होंने कहा कि 7 साल की उम्र में जब बच्‍चे खिलौने से खेलते हैं तब उन्‍होंने बॉलीवुड में कदम रखा, और एक से बढ़कर एक हिट फि‍ल्‍में दीं। विभाग की एक अन्‍य सर्जन डॉ पूजा रमाकान्‍त ने आये हुए अतिथियों के प्रति अपना धन्‍यवाद ज्ञापित किया।

समारोह में विशिष्‍ट अतिथि कार्यवाहक कुलपति के रूप में उपस्थित प्रति कुलपति प्रो विनीत शर्मा ने भी कार्यक्रम की सराहना करते हुए अपनी शुभकामनाएं दीं।  अर्जुन अवॉर्ड से सम्मानित पैराएथलिट पद्मश्री मौलाथी कृष्णमूर्ति होल्ला, एमएलसी डॉ प्रज्ञा त्रिपाठी  एवं ग्रुप की सदस्यों में सबसे अधिक उम्र की सर्वाइवर मनी वर्धन इस कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहीं।

इस कार्यक्रम में पिछले चार वर्षों की यात्रावृत्तान्त को डॉक्यूमेन्ट्री फिल्म के माध्यम से प्रदर्शित किया गया जिसका मुख्य उदेद्श्य स्तन कैंसर के मरीजों का मनोबल बढ़ाना तथा साथ-साथ स्तन कैंसर से जुड़ी भ्रान्तियों को दूर करना था, ग्रुप के संस्थापक प्रो आनन्द मिश्र का मुख्य विज़न है कि ग्रुप में जुड़े सर्वाइवर्स अपनी बीमारी के दौरान प्राप्त अनुभवों तथा इलाज के उपरान्त अपने परिवारिक एवं सामाजिक जीवन से जुड़ी समस्याओं आदि के संबंध में स्तन कैंसर बीमारी के नये मरीजों की सहायता तथा उनके इलाज में सहयोगी बनें, कार्यक्रम मे लगभग 150 सर्वाइवर्स एवं उनकी देखभाल करने वाले परिवारिक सदस्यों द्वारा प्रतिभाग किया गया, इस कार्यक्रम में स्वेच्छा से स्तन कैंसर बीमारी में सहयोग करने वाले सर्वाइवर्स को I am Proud Breast Cancer Conqueror की पोर्टफोलियों बनाकर प्रदान किया गया, पोर्टफोलियो प्राप्त सर्वाइवर्स समाज में स्तन कैंसर से संबन्धित बीमारी के विषय में जानकारी तथा सामाजिक जागरूकता को बढ़ाने में अधिक से अधिक अपना सहयोग प्रदान करेंगे, इस ग्रुप के अनेक सदस्य वॉलेन्टियर के रूप में  इलाज करा रहे मरीजों की भरपूर सहायता करते हैं

इस मौके पर प्रो0 आनन्द मिश्र द्वारा लिखित पुस्तक “Chronicles of Breast Cancer Survivors : stories of Hope, strength and inspiration”  Stardom Books USA का विमोचन किया गया, इस किताब में स्तन कैंसर की बीमारी को जीत चुकीं 16 महिलाओं की विजय यात्रा का सचित्र वर्णन है।

कार्यक्रम में बताया गया कि यह ग्रुप सामाजिक कार्यों में रुचि रखने वाले महानुभावों के सहयोग तथा अभिदान से चलता है, इस ग्रुप के चार साल यात्रा में योगदान देने वाले सदस्यों को ’’सपोर्ट ग्रुप रत्न सम्मान’’ से सम्मानित करते हुए आभार एवं कृतज्ञता प्रकट की गयी। इस ग्रुप को चलाने में शुरू से पति डॉ आनंद मिश्रा का कदम-कदम पर साथ देने वाली अंजना मिश्रा को भी लोगों की भरपूर सराहना मिली।

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